*बर्फवारी के बीच भकुंट भैरवनाथ  के कपाट आज शीतकाल हेतु बंद हुए। 15 नवंबर को की केदारनाथ धाम के कपाट बंद होंगे।*

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बर्फवारी के बीच भकुंट भैरवनाथ  के कपाट आज शीतकाल हेतु बंद हुए। 15 नवंबर को की केदारनाथ धाम के कपाट बंद होंगे।

केदारनाथ/

केदारनाथ धाम के कपाट 15 नवंबर प्रात: को शीतकाल हेतु बंद हो जायेंगे।

 

कपाट बंद की प्रक्रिया के इसी क्रम में केदारनाथ में भारी बर्फबारी के बीच भगवान केदारनाथ के रक्षक द्वारपाल भकुंट भैरव नाथ जी के कपाट हेतु आज शनिवार 11 नवंबर को पूजा – अर्चना यज्ञ हवन कै पश्चात शीतकाल हेतु अपराह्न तीन बजे बंद हो गये।

बदरीनाथ- केदारनाथ मंदिर समिति अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने बताया कि बाबा भैरवनाथ जी के कपाट बंद होने के बाद श्री केदारनाथ मंदिर के कपाट बंद होने तक  केदारनाथ धाम में विधिवत पूजा-अर्चना चलती रहेगी।

भैरवनाथ के कपाट बंद होने के कार्यक्रम के अनुसार आज शनिवार को दोपहर 12 बजे तक तीर्थयात्रियों ने भगवान केदारनाथ के दर्शन किये उसके पश्चात मंदिर की साफ -सफाई हुई ओर मंदिर बंद हो गया। अपराह्न 1 बजे मंदिर समिति के पुजारी, धर्माचार्य, वेदपाठी तथा अधिकारीगण एवं तीर्थ पुरोहित गणों ने भैरवनाथ जी के कपाट बंद करने हेतु प्रस्थान किया।

इस अवसर पर भैरवनाथ जी का आव्हान किया गया। पूजा-अर्चना यज्ञ-हवन के बाद अपराह्न में तीन बजे श्री भैरवनाथ  के कपाट शीतकाल हेतु बंद हो गये।

तत्पश्चात  केदारनाथ मंदिर में पुनः अपराह्न चार बजे से दर्शन शुरू हो गये।  भैरवनाथ जी के कपाट बंद होने के बाद मंदिर के कपाट बंद होनेतक शायंकालीन आरती पूर्ववत चलती रहेगी।

इस अवसर पर मंदिर समिति कार्याधिकारी आरसी तिवारी, पुजारी शिवलिंग, धर्माचार्य ओंकार शुक्ला, अरविंद शुकला, केदार सभा अध्यक्ष राजकुमार तिवारी, पूर्व अध्यक्ष विनोद शुक्ला, प्रदीप सेमवाल, कुलदीप थर्म्वाण, ललित त्रिवेदी सहित तीर्थयात्री मौजूद रहे।

 


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