प्राचीन भारतीय जीवन शैली एवं प्राकृतिक रोग उपचार विषय पर कार्यशाला का आयोजन हुआ।

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चमोली / गोपेश्वर

प्राचीन भारतीय जीवन शैली एवं प्राकृतिक रोग उपचार विषय पर कार्यशाला का आयोजन हुआ।

राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय गोपेश्वर में प्रेरणा निशुल्क कोचिंग सेंटर हाल में महाविद्यालय कैरियर काउंसलिंग एवं प्लेसमेंट सेल के अन्तर्गत प्राचीन भारतीय जीवन शैली एवं प्राकृतिक रोग उपचार विषय पर कार्यशाला का आयोजन हुआ जिसमें मुख्य वक्ता के रूप में वैद्य श्री राजेश कपूर सोलन हिमाचल प्रदेश से उपस्थित रहे उन्होंने स्वामी दयानंद सरस्वती जी के द्वारा बताये मार्ग पर चलने को कहा तथा साथ ही साथ ब्रह्मचर्य के पालन करने को कहा, छात्र-छात्राओं को तितली आसन, उज्जयी, सर्वांग आसन, मूलबन्द, तीनबन्द तथा अनुलोम-विलोम का अभ्यास करवाया और आंवला, शतावरी, पीपल, जटामांसी के गुणों की जानकारी दी एवं उपयोग करने की विधि भी बताई तथा घर पर साबुन बनाने की विधि की भी जानकारी दी। महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. आर.के .गुप्ता ने छात्र-छात्राओं को संबोधित करते हुए बद्री गाय के महत्व बताया तथा गाय से प्राप्त पंचगव्य की विशेषताओं की जानकारी दी।

कार्यक्रम में लगभग सौ छात्रों ने प्रतिभाग किया इस अवसर पर कैरियर काउंसलिंग सेल के संयोजक डॉक्टर बीपी पोखरियाल, डॉक्टर बीसीएस नेगी, डॉक्टर ए .के सैनी, डॉक्टर जगमोहन नेगी, डॉक्टर भावना मेहरा, डॉक्टर सरिता पवार, डॉक्टर संध्या गैरोला, डॉ रंजू बिष्ट, डॉ विनीता नेगी, पूनम टाकुली, डॉक्टर पी.एल शाह, डॉक्टर गिरिधर जोशी, डॉ मनोज प्रसाद नौटियाल, आदि गणमान्य उपस्थित रहे।


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