डिप्रेशन में आकर पत्नी ने की आत्महत्या, पत्नी का सपना साकार करने लिए निकले गोमुख से गंगासागर तक की पैदल यात्रा पर

Spread the love

यात्रा के दौरान अवसाद मुक्त जीवन जीने, नशे से दूर रहने का भी देंगे सन्देश

उत्तरकाशी/ उत्तराखंड
अवसादग्रस्त यानि (डिप्रेशन) में आकर पत्नी ने आत्महत्या कर ली, अतुल चौकसे ने तो अवसाद ग्रस्त लोगों के लिए अस्पताल बनाने की भी ठान ली, जिस कारण वे गोमुख से लेकर गंगासागर तक की पैदल यात्रा पर निकले हुये हैं, यात्रा के दौरान चौकसे अस्पताल के लिए डोनेशन भी जुटाएंगे।
नागपुर के अतुल चौकसे की पत्नी ने पिछले वर्ष 13 जून को आत्महत्या कर ली थी। अतुल की पत्नी निकिता पेशे से पर्यावरण वैज्ञानिक थी। अतुल खुद कंप्यूटर शिक्षक हैं,अतुल ने बताया कि फरवरी 2020 में उन दोनों की शादी हुई थी। शादी के कुछ समय बाद ही किसी ज्योतिषी और जानकार इंसान ने निकिता को बताया कि अतुल मांगलिक है। जिससे वह धीरे-धीरे अवसाद (डिफ्रेंसन) में चली गई, शादी के मात्र तीन माह बाद निकिता ने आत्महत्या कर ली। अतुल ने बताया कि पत्नी की मौत ने उन्हें झकझोर कर दिया। चौकसे ने बताया कि विश्व में अधिकांश लोग अवसाद (डिप्रेशन) में जीवन व्यतीत कर रहे हैं। आत्म हत्याओं की संख्या दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। अवसाद से ग्रस्त होकर कोई और आत्महत्या न कर ले। इसके लिए उन्होंने अवसाद ग्रस्त लोगों के लिए अस्पताल बनाने की ठानी है। जिसके लिए उन्होंने 6 नवंबर से गोमुख से गंगासागर तक की पैदल यात्रा शुरु की है। उनका लक्ष्य 100 दिनों में करीब 3 हजार किमी की पैदल यात्रा पूरी करने का है। वह उत्तराखंड, यूपी, बिहार, झारखंड व बंगाल प्रदेशों से होकर गुजरेंगे। यात्रा के दौरान वह लोगों को अवसाद मुक्त जीवन जीने, नशे से दूर रहने के लिए भी लोगों केे प्रेरित करेंगे। साथ ही अस्पताल के लिए डोनेशन में एकत्र करेंगे। अतुल इसी वर्ष जनवरी माह में थार मरूस्थल को भी पार कर चुके हैं। अतुल ने कहा कि वह पूरी यात्रा पर डाक्यूमेंटी फिल्म भी बनाएंगे।


पूरे विश्व के भ्रमण की भी है योजना

अतुल ने बताया कि गोमुख से गंगासागर की पैदल यात्रा के बाद उनकी योजना विश्व भ्रमण की है। वह 40 देशों की करीब 45 हजार किमी की पैदल यात्रा करेंगे। इस दौरान भी वह अस्पताल के लिए डोनेशन जमा करेंगे। इसके लिए उन्होंने 4 वर्ष का लक्ष्य रखा है। अतुल ने बताया कि इस संबंध में उन्होंने संयुक्त राष्ट्र संघ से भी संपर्क किया है। वीजा कार्यवाही में कुछ छूट मिल सके।

सभी सुविधाएं होंगी इस अस्पताल में

अतुल चौकसे ने बताया कि अवसादग्रस्त लोगों के इलाज के लिए इस अस्पताल में सभी सुविधाएं होंगी। अस्पताल में खेल, चिकित्सा विज्ञान व आध्यात्म का संगम होगा। इन सभी विधाओं से अवसादग्रस्त लोगों का इलाज किया जाएगा।

सैंपल भी कर रहे एकत्र

अतुल ने बताया कि वह यात्रा के दौरान जगह-जगह नदियों के पानी का सैंपल भी एकत्र कर रहे हैं। जिसे वह परीक्षण के लिए वैज्ञानिकों को देंगे। अतुल ने बताया कि उनके कई दोस्त वैज्ञानिक हैं। जो इस क्षेत्र में रिसर्च कर रहे हैं।


Spread the love
error: Content is protected !!